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Saturday, October 20, 2007

पहली दफा में


पहली दफा में हर किसी का
काम नहीं होता है
दिवानों कि तरह खुदपर गुस्सा
थोडे हि हुआ जाता है

शांति से आँख मुँद कर
दीर्ध श्वास लिजिये
होगा होगा जरूर होगा
खुदको विश्वास दिजिये
फिर प्रयास करने के लिये
जिद पर डटे रहिये
नये नये तरीकों से
वही वही करते रहिये
क्षितिज के उस पार भी
और आकाश होता है
दिवानों कि तरह खुदपर गुस्सा
थोडे हि हुआ जाता है

पहली दफा में हर किसी का
काम नहीं होता है
दिवानों कि तरह खुदपर गुस्सा
थोडे हि हुआ जाता है

निश्चत और दृढता से
जब पाँव रखते जाओगे
कोहरा सारा छटने लगेगा
रास्ता देख पाओगे
आसानी से जो मिलता है
छूट भी सकता है
कष्ट का फल मगर हमेशा
पास में टिकता है
ध्यान किजिये मन में शक्ति का
असिमित भांडार होता है
दिवानों कि तरह खुदपर गुस्सा
थोडे हि हुआ जाता है

पहली दफा में हर किसी का
काम नहीं होता है
दिवानों कि तरह खुदपर गुस्सा
थोडे हि हुआ जाता है

तुषार जोशी, नागपुर

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10 कविताप्रेमियों का कहना है :

Avanish Gautam का कहना है कि -

प्रवचन ज्यादा. कविता कम.

शोभा का कहना है कि -

तुषार जी
विचार अच्छा है किंतु इसमें कविता का आनंद नहीं आया

Unknown का कहना है कि -

tusharji,

vichar man ko bhaa gaye. aam kavitaki taraha nahi hai ye kavita. thodeesee alag hai. achhi lagi.

Sajeev का कहना है कि -

tushaar ji wahi kahunga jo shobha ji ne kaha kavya ras nahi hai , bas bhaav jarur achhe hain

Mohinder56 का कहना है कि -

तुषार जी,

बात बनती नजर नहीं आती.. शायद आजकल आप इस और समय नहीं दे पा रहे.

गीता पंडित का कहना है कि -

तुषार जी ,


विचार अच्छा है...

राजीव रंजन प्रसाद का कहना है कि -

विचार अच्छे हैं, शिल्प कवि का समय माँग रहा है।

*** राजीव रंजन प्रसाद

दिवाकर मणि का कहना है कि -
This comment has been removed by the author.
दिवाकर मणि का कहना है कि -

तुषार जी,
मेरे पूर्व के टिप्पणीकारों ने लगभग सबकुछ कह दिया है. उनसे सहमति रखते हुए केवल इतना कहना चाहूँगा कि व्याकरणिक-वर्तनी संबंधी अशुद्धियों से बचें. कविता में एक ही बात की बारंबार पुनरावृति भी खली. आशा है, आगे ध्यान देंगे.
धन्यवाद...
मणि

RAVI KANT का कहना है कि -

तुषार जी,
ऊपर पाठकों ने जो टिप्पणियाँ की हैं मैं उनसे सहमत हुँ।

पहली दफा में हर किसी का
काम नहीं होता है

आपने कहीं इस कविता को पहली ही दफा लिखकर तो नही छोड़ दिया :) :)

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