tag:blogger.com,1999:blog-30371899.post7885604266835009920..comments2024-03-23T18:32:18.216+05:30Comments on हिन्द-युग्म Hindi Kavita: एक प्रो॰ और एक वैज्ञानिक का नववर्ष बधाई संदेशशैलेश भारतवासीhttp://www.blogger.com/profile/02370360639584336023noreply@blogger.comBlogger8125tag:blogger.com,1999:blog-30371899.post-67515038240165451222020-12-31T23:04:16.434+05:302020-12-31T23:04:16.434+05:30बहुत सुंदर रचना,,, बेहतरीन शब्द संयोजन,,,बहुत सुंदर रचना,,, बेहतरीन शब्द संयोजन,,,Kishor Kar Journalisthttps://www.blogger.com/profile/03951107208094219461noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-30371899.post-14511221825292499332015-12-29T20:37:44.900+05:302015-12-29T20:37:44.900+05:30आपकी लिखी रचना "पांच लिंकों का आनन्द में"...<br /><i><b> आपकी लिखी रचना "पांच लिंकों का आनन्द में" शनिवार 02 जनवरी 2016 को लिंक की जाएगी ....<a href="http://halchalwith5links.blogspot.in" rel="nofollow"><br />http://halchalwith5links.blogspot.in </a>पर आप भी आइएगा ....धन्यवाद!<br /></b></i>विभा रानी श्रीवास्तवhttps://www.blogger.com/profile/01333560127111489111noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-30371899.post-76556019410566218162010-01-03T18:42:10.907+05:302010-01-03T18:42:10.907+05:30नव वर्ष की मंगलमय कामनाओं के साथ साथ आपकी रचना का ...नव वर्ष की मंगलमय कामनाओं के साथ साथ आपकी रचना का स्वागत. खूब लिखा है <br /><br />हृदय सरोवर में विकसित हों<br />बन्धु भाव के सुरभित शतदल<br />जन जन में उल्लास जगे , हो<br />शुचिता , सेवा , त्याग , मनोबलअभिन्नhttps://www.blogger.com/profile/06944616806062137325noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-30371899.post-11898604319825949262008-01-06T13:38:00.000+05:302008-01-06T13:38:00.000+05:30संजीव जीअपने बहुत अच्छा लिखा है. भविष्य के लिए सही...संजीव जी<BR/>अपने बहुत अच्छा लिखा है. भविष्य के लिए सही विचार दिए हैं . बधाईशोभाhttps://www.blogger.com/profile/01880609153671810492noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-30371899.post-37794351849063084762008-01-03T10:52:00.000+05:302008-01-03T10:52:00.000+05:30संजीव कुमार जी,आप ने अपनी कविता में जिन समस्याओं ...संजीव कुमार जी,आप ने अपनी कविता में जिन समस्याओं पर गौर कराया है.वह आज की हकीक़त है..चाहे वह ग्लोबल वार्मिंग हो या किसानों की ग़रीबी..ये सभी मुद्दे बहुत ही गंभीर हैं ,अच्छे भविष्य के लिए जल्द ही कोई न कोई समाधान सब को मिल कर निकालना है--आप की वैज्ञानिक सोच का प्रभाव कविता में दिखायी देता है.अच्छी रचना के लिए धन्यवाद.Alpana Vermahttps://www.blogger.com/profile/08360043006024019346noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-30371899.post-45467832207231722742008-01-03T10:45:00.000+05:302008-01-03T10:45:00.000+05:30'विदग्ध'जी,मोती जैसे शब्द चुन चुन कर आपने जो कविता...'विदग्ध'जी,<BR/>मोती जैसे शब्द चुन चुन कर आपने जो कविता सजायी है मुझे तो बहुत पसंद आयी.<BR/>'हृदय सरोवर में विकसित हों<BR/>बन्धु भाव के सुरभित शतदल''<BR/>वाह!<BR/>नव वर्ष का स्वागत करती , मोहक और गुनगुनाती कविता का स्वागत है.Alpana Vermahttps://www.blogger.com/profile/08360043006024019346noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-30371899.post-33204037829041436452008-01-02T14:49:00.000+05:302008-01-02T14:49:00.000+05:30स्वागत है नव वर्ष तुम्हारा ! -- एक सुंदर रचना है |...स्वागत है नव वर्ष तुम्हारा ! <BR/>-- एक सुंदर रचना है |<BR/><BR/>हृदय सरोवर में विकसित हों<BR/>बन्धु भाव के सुरभित शतदल<BR/>जन जन में उल्लास जगे , हो<BR/>शुचिता , सेवा , त्याग , मनोबल<BR/>-- सुंदर पंक्तियाँ है |<BR/><BR/>बधाई<BR/>----------------------------------<BR/><BR/>संजीव कुमार गोयल "सत्य" जी - <BR/>बहुत जीवंत रचना है |<BR/>किसी नेता को जरूर सुनाना चाहिए |<BR/>बधाई<BR/>-- अवनीश तिवारीअवनीश एस तिवारीhttps://www.blogger.com/profile/04257283439345933517noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-30371899.post-84559679556926883292008-01-02T13:22:00.000+05:302008-01-02T13:22:00.000+05:30स्वागत है tumhara नव वर्ष, हृदय सरोवर में विकसित ह...स्वागत है tumhara नव वर्ष, <BR/>हृदय सरोवर में विकसित हों<BR/>बन्धु भाव के सुरभित शतदल<BR/>जन जन में उल्लास जगे , हो<BR/>शुचिता , सेवा , त्याग , मनोबल<BR/><BR/>घर घर में खुशियां मिल तोड़े<BR/>कलुषित भेदभाव की कारा<BR/>नवल दृष्टि पाये जग सारा<BR/>स्वागत है नव वर्ष तुम्हारा<BR/> नव वर्ष मंगलमय हो विदग्ध जी <BR/><BR/> संजीव जी किसी भी बिताते साल के बाद और आने वाले साल के सन्दर्भ में एक खास बात होती है और वो होती है, संकल्पों की .<BR/> बीत गया यह साल यूं ही,<BR/>सुलझा पाए न समस्याएँ हम,<BR/>समाधान करेंगे, संकल्प लें यह,<BR/>मिलकर हम सब, नव वर्ष में<BR/> यह संकल्प सराहनीय है <BR/> नए साल की हार्दिक शुभकामनाएं<BR/> आलोक सिंह "साहिल"Anonymousnoreply@blogger.com